निर्देश :- यहाँ सम्पूर्ण संसद (why do we need a parliament) के बारे में विस्तार से वर्णित है और इसके साथ साथ प्रतियोगी परीक्षा और अन्य परीक्षा में पूछे जाने वाले टॉप प्रश्न उत्तर को शामिल किया गया है। संसद के सभी अनुछेद भी शामिल है। वाचक , संयुक्त बैठक, संविधान संशोधन आदि के बारे में विस्तृत वर्णित हैं। एक बार इस पेज से पढ़ने के बाद और किसी जगह पढ़ने की जरुरत नहीं है तो जाने संसद के बारे में विस्सृत जानकारी यहाँ है। |

संसद (Parliament)
- संसद (Parliament) का उल्लेख सविधान के अनुछेद 79 में और भाग 5 में है।
- संसद का निर्माण राष्ट्पति और लोगसभा व राज्सभा से मिलकर होता है।
- वर्तमान संसद का निर्माण कार्य 1921 से प्रारंभ हुआ जिसका उद्घाटन 18 जनवरी 1927 लॉर्ड इविन ने किया था | इनका वास्तुकार एडविन लुटियंस और हर्बर्ट बेकर था।
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अनुछेद 85 में ससंद (Parliament) के सत्र का उल्लेख है [ संसद में सामान्य एक वर्ष में तीन सत्र आयोजित होता है जिसमे दो सत्र बुलाना अनिवार्य होता है |] (एक सत्र से दूसरे सत्र के बीच अधिकतम समय छ महा होता है )
तीन सत्र निम्नलिखित है-
- बजट सत्र :- फरवरी से मई तक चलता है।
- मानसूनी सत्र :- जुलाई से सितम्बर तक चलता है।
- शीतकालीन सत्र :- नवबर से दिसम्बर तक चलता है।
सत्रों को आहूत व सत्रावसान – राष्ट्पति – प्रधानमंत्री की सिफारिश पर करता है।
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संसद (Parliament) का गठन
ससंद में कानूनों का निर्माण करने की प्रकिया :- ( बिर्टिन से ली गई है )
- प्रथम वाचक :- विधेयक को प्रस्तुत करना।
( विधयेक के उद्धेश्य पर चर्चा होगी )
- दूसरा वाचक :- समिति के पास भेजा जाता है।
(विधेयक पर समिति में चर्चा होती है )
- तीसरा वाचक :- सदन की राय जानी जाती है।
( अगर लगा मतदान करना होगा तो कराया जायेगा )
- विधयक :- अगले सदन में चला जायेगा ।
(पारित नहीं किया तो सयुक्त बैठकों का आयोजन होगा )
- अंतिम में विधेयक राष्ट्पति के पास चला जाता है।
- अगर राष्ट्पति हस्तासर कर ले- तो विधेयक कानून का रूप ले लेगा।
- विधेयक में लोगसभा और राज्य सभा के बीच गतिरोध हो तो सयुक्त बैठकों का आयोजन कराया जाता है।
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सयुक्त बैठकों का आयोजन ( अनुछेद – 108 )
- अध्यक्षता:- लोगसभा का अध्यक्ष अनुछेद 118 के तहत करेगा।
- लोगसभा का अध्यक्ष अनुपस्थित हो तो- लोगसभा का उपाध्यक्ष करेगा।
- अगर दोनों अनुपस्थित हो तो- राज्यसभा का उपसभपति करेगा।
- तीनो अनुपस्थित हो- राष्ट्पति द्वारा तय किया गया वरिष्ट सांसद।
- सयुक्त बैठकों से किसी विधायक को पारित होने के लिया सामान्य बहुमत चाहिए।
- सामान्य बहुमत उपस्थित सदस्य का आधा + 1 = सामान्य बहुमत।
- लोगसभा सदस्य 543+ राज्यसभा सदस्य 245 = 788/2+1 =395
- अतः सयुक्त बैठकों में वही विधेयक पारित होगा जिसे लोग सभा चायेगी।
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इन तीन बैठकों पर सयुक्त बैठक नहीं होगी
- धन विधेयक
- सविधान संसोधन
- महाभियोग।
आज तक भारत में तीन बार सयुक्त बैठक हुई :-
- 1961 में दहेज प्रतिषेध – अध्यक्षता – अनतशयनम आयकर ( लोगसभा का अध्यसक्ष )
- 1978 में बैंकिंग सुधार – अध्यक्षता – K.S. हेगड़े ( लोगसभा का अध्यक्ष )
- 1978 में आतकवादी निरोधक – P.M. सईद ( लोगसभा का अध्यक्ष )
नोट – तीनो ही सयुक्त बैठकों में भाग लेने वाला एकमात्र अटल बिहारी वाजपेय थे।
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भाषा – ( अनुछेद 120 )
- संसद की भाषा में हिंदी या अग्रेजी बोल सकते है।
- अगर कोई सांसद मातृभाषा में बोलना चाये तो सम्बंधित सदन के अध्यक्ष या सभापति से अनुमति लेनी होगी।
- नोट – मातृभाषा अनुसूची 8 में है वही मानी या बोली जाएगी।
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संसद की प्रकिया – ( अनुछेद 118 )
- प्रश्नकाल :- संसद की बैठक का पहला घंटा व 11 से 12 बजे का समय होता है।
इसमे तीन प्रकार के प्रश्न पूछे जाते है :-
1- तारांकित प्रश्न 2 – अतारांकित प्रश्न 3- अल्पसूचना प्रश्न
( नोट :- कम से कम सम्बंधित सांसद को 10 दिन पहले सूचना देना होगा।)
- शून्यकाल :- 12 से 1 बजे तक का समय, बिना किसी पूर्व सूचना से प्रश्न पूछे जा सकता है।
( नोट :- संसदीय प्रकिया में उल्लेख नहीं है। )
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संसद के कार्य
कानूनों का निर्माण करना :-
- विधायक :- किसी भी विषय पर कानूनों का निर्माण करने के लिए सदन में जो प्रस्ताव रखा जाता है उसे विधायक कहते हैं।
- इसके प्रकार – रखने के आधार पर
- सरकारी विधायक जो मंत्रियों के द्वारा रखा जाता है।
- गैर सरकारी विधायक जो अन्य सांसद द्वारा रखा जाता है।
- तथ्यों के आधार पर सामान्य विधेयक, संविधान संशोधन विधेयक, व वित्त विधेयक आदि।
[1] सामान्य विधेयक :-
- यह विधायक पहले किसी भी सदन में रखा जा सकता है।
- दोनों ही सदनों से पारित होना जरूरी है।
- अगर सामान्य विधेयक पर दोनों ही सदनों के मध्यम गतिरोध उत्पन्न हो गया तो संयुक्त बैठकों का आयोजन किया जा सकता है ।
- अनुच्छेद 107 में विधेयक को पारित करने की प्रक्रिया का उल्लेख है।
- { [अगर सामान्य विधेयक लोकसभा से पारित होकर राज्यसभा में चला जाए और जब तक राज्यसभा पारित करें तब तक लोकसभा भंग हो जाए तो सामान्य विधायक समाप्त हो जाएगा।]
- [सामान्य विधेयक लोकसभा में रखा और चर्चा चल रही थी लोकसभा से पारित होने से पहले लोकसभा भंग हो जाए तो विधायक समाप्त हो जाएगा।]
- [अगर सामान्य विधेयक पहले राज्यसभा में रखा और राज्यसभा से पारित हो गया और लोकसभा में आने से पहले लोकसभा भंग हो जाए तो विधायक समाप्त नहीं होगा।]}
[2] संविधान संशोधन विधेयक :- अनुच्छेद 368
- पहले किसी भी सदन में रखा जा सकता है।
- दोनों सदनों से पारित होना जरूरी है।
- संयुक्त बैठकों का आयोजन नहीं किया जा सकता है।
- राष्ट्रपति पुनर्विचार के लिए नहीं भेज सकता है।
- संविधान संशोधन विधेयक पर हस्ताक्षर करना राष्ट्रपति की बाध्यता होगी।( 24 वां संविधान संशोधन 1971 )
[3]वित्त विधेयक :-
- (1)अनुच्छेद 110 में धन विधेयक
- (2) और अनुच्छेद 117 में वित्त विधेयक।
- अनुच्छेद 109 के अनुसार धन विधेयक हमेशा पहले लोकसभा में रखा जाता है।
- लोकसभा के बाद राज्यसभा में 14 दिन में पारित कर दे या नहीं करें तो स्वत पारित माना जाएगा।
- अनुच्छेद 110 में धन विधेयक को परिभाषित किया गया है।
- नोट – कोई विधेयक धन विधेयक है या नहीं है इसका निर्णय लोकसभा का अध्यक्ष करता है।
धन विधेयक की परिभाषा :- अगर किसी भी देश में नए कर को लगाने या लगाकर को बंद करने लगे हुए कर की सीमा में कमी करने या सीमा में वर्दी करने की या भारत को विदेशों से उधार लेने की या देने की और सर का संचित निधि से रुपए निकाले जैसी कोई बात करें तो वह धन विधेयक है।
- बजट एक धन विधेयक है।
- धन विधेयक पर संयुक्त बैठक का आयोजन नहीं होता है।
- राष्ट्रपति पुनर्विचार के लिए नहीं भेज सकता है व अनुमति लेना जरूरी है।
- धन विधायक एकमात्र ऐसा विधेयक है जो सरकारी विधेयक है।
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बजट को पारित करना :-
- अनुच्छेद 112 के अंदर बजट को परिभाषित किया गया है|
- वार्षिक वित्तीय विवरण 1 वर्ष की आय-व्यय का ब्यौरा बजट शब्द मुलत: फ्रेंच भाषा ब्यूज शब्द से बना है जिसका अर्थ होता है चमड़े का थैला (वित्त मंत्री चमड़े के थैले में कागज लेकर आते थे|)
- बजट पेश करने के बाद हर विभाग अगले वित्त वर्ष का खर्चा चलाने की मांगे रखते हैं इन मांगों की
- इसकी जांच प्राक्कलन समिति द्वारा की जाती है |
- अनुच्छेद 116 में लेखाअनुदान समिति बजट में विभागों द्वारा मांगी राशि का 1 बटा 6 प्रत्येक विभाग को वित्त वर्ष के प्रारंभ में ही उपलब्ध कराती है |
- विनियोग विधेयक सरकार सचिव निधि से पैसा निकाल कर विभाग को को आवंटित करती हैं इस पर सदन में बहस हो सकती है लेकिन मतदान नहीं होगा |
- सर्वप्रथम बजट 1860 में लॉर्ड कैनिंग रखा ।
- विपक्ष के द्वारा तीन प्रकार के कटौती प्रस्ताव लाते हैं:-
- (1) नीतिगत कटौती प्रस्ताव :- बजट में 1 की कमी करना
- (2)सांकेतिक कटौती प्रस्ताव:- 100 की कमी करना
- (3) मितव्ययता कटौती प्रस्ताव:- कम खर्चा सुझाव |
- स्वतंत्र भारत का प्रथम बजट :- षण्णमूख शेट्ठी
- गणतंत्र भारत का प्रथम बजट :- जॉन मथाई
- सर्वाधिक बजट रखने का रिकॉर्ड :- मोराजी देसाई (10 बार)
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चुनाव संबंधी कार्य :-
संसद (Parliament) के सदस्य , राष्ट्रपति , उपराष्ट्रपति , लोकसभा अध्यक्ष , उपाध्यक्ष , राज्यसभा के सभापति के चुनाव या निर्वाचन में भाग लेते हैं। |
हटाने सम्बन्धी कार्य :-
संसद के सदस्य राष्ट्रपति , उपराष्ट्रपति , न्यायाधीशों , नियंत्रण व महा लेखा परिक्षण, केंद्रीय निर्वाचन आयोग के आयूक्तो , लोकसभा अध्यक्ष , उपाध्यक्ष , राज्यसभा के उपसभापति , यूपीएससी , पीएससी व अन्य संयुक्त पीएससी अध्यक्ष सदस्य | |
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टॉप 20 प्रश्न – उत्तर
- भारत के नए संसद (Parliament)भवन की आधारशिला कब रखी गई ?
10 दिसंबर 2020 |
- नए संसद भवन की आधारशिला कहां रखी गई ?
दिल्ली में |
- संसद भवन की आधारशिला किसने रखी ?
भारत के वर्तमान प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी ने |
- नया संसद भवन का डिजाइन किसने तैयार किया ?
हक्प ( हसमुख स पटेल ) |
- भारत का नया संसद भवन कितने क्षेत्र में फैला हैं ?
64500 वर्ग किलोमीटर में |
- भारत के नए संसद भवन का निर्माण किस प्रोजेक्ट के तहत हुआ ?
टाटा प्रोजेक्ट लिमिटेड के तहत |
- संसद के किस सदन को प्रतिनिधि सदन कहा जाता है ?
लोकसभा को |
- लोक लेखा समिति का सर्वप्रथम गठन कब प्रारंभ हुआ ?
1921 में |
- लोक लेखा समिति का वर्तमान में अध्यक्ष कौन है ?
अधीर रंजन चौधरी |
- लोक लेखा समिति में कुल सदस्य संख्या कितनी होती है ?
22 सदस्य (15 लोकसभा 7 राज्यसभा) |
- लोक लेखा समिति का कार्यकाल कितना होता है ?
1 वर्ष का |
- प्राक्कलन व अनुमति समिति का गठन कब प्रारंभ हुआ ?
1950 में |
- प्राक्कलन व अनुमति समिति के कुल सदस्य कितने होते हैं ?
30 सभी सदस्यों लोकसभा के होते हैं |
- प्राक्कलन व अनुमति समिति का वर्तमान में अध्यक्ष कौन है ?
गिरीश चंद्र बापत |
- सार्वजनिक उपक्रम समिति के वर्तमान अध्यक्ष कौन है ?
मीनाक्षी लेखी ।
- वर्तमान में कितने विभागीय समितियां हैं ?
24 समितियां |
- सांसदों के वेतन भत्तों का निर्धारण कौन करता है ?
संसद |
- सीएजी की फुल फॉर्म क्या है ?
नियंत्रण एवं महालेखा परीक्षण |
- आज तक भारत में कितनी बार संयुक्त बैठक हुई है ?
3 बार |
- तीनों संयुक्त बैठक में भाग लेने वाला एकमात्र व्यक्ति कौन है ?
अटल बिहारी वाजपेयी
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संसद (Parliament) से संबधित अन्य जानकारी
- “संसद Parliament के प्रत्येक सदस्यों राष्ट्रपति के समक्ष शपथ लेता है |
- जब तक कोई सदस्य शपथ नहीं लेता है तब तक वह सदन की बैठकों में हिस्सा नहीं ले सकता है उक्त परिस्थितियों में यदि कोई व्यक्ति सदन के सदस्यों बैठक में भाग लेगा तो प्रतिदिन का जुर्माना 500 रूपया होगा
- संसद के एकसत्र के सत्रावसान के एवं दूसरे सत्र के प्रारंभ होने के मध्य की समय अवधि को अवकाश कहते हैं |
- सांसदों के वेतन-भत्तो का निर्धारण संसद द्वारा किया जाता है।”